गुजरा समय लौटकर नहीं आता, इसलिए अपनी रुचि के अनुसार लक्ष्य तय करें, सफलता ईमानदारी और दृढ़ निश्चय से संभव है- योगेश सिंह चौहान
सीएम राइज विनोबा हायर सेकंडरी स्कूल में वार्षिकोत्सव और करियर गाइडेंस कार्यक्रम आयोजित किया गया।
सीएम राइज विनोबा स्कूल रतलाम में करियर मार्गदर्शन और वार्षिकोत्सव के दौरान विद्यार्थियों को मिले पुरस्कार, शिक्षकों का हुआ सम्मान
एसीएन टाइम्स @ रतलाम । विद्यार्थी का बैकग्राउंड मायने नहीं रखता है। किसी भी माध्यम और परिवेश का विद्यार्थी ईमानदारी व दृढ़ निश्चय के साथ प्रयास करें तो सफलता सुनिश्चित है। एकेडमिक्स को बेहतर बनाना है और कांसेप्ट को समझना है। उन्होंने कहा कि जो समय गुजर गया, वह कभी लौट कर नहीं आता। इसलिए समय का सदुपयोग सही दिशा में करें। लक्ष्यहीन और दिशाहीन कार्य का कोई महत्व नहीं होता। यदि लक्ष्य अपनी रुचि का तय करेंगे तो मेहनत करने में भी मन लगेगा।
उक्त विचार भारतीय नौसेना के जूनियर कमीशंड ऑफिसर (रिटा.) योगेश सिंह चौहान ने सीएम राइज विनोबा हायर सेकंडरी स्कूल रतलाम में कही। वे दो दिवसीय वार्षिकोत्सव एवं करियर गाइडेंस कार्यक्रम के दूसरे दिन मुख्य अतिथि के रूप में बोल रहे थे। मप्र लोक सेवा आयोग की परीक्षा में सफल हो चुके चौहान ने कहा कि साधन से ज्यादा कमिटमेंट महत्वपूर्ण होता है। इसमें औरों से किए गए कमिटमेंट के बजाय यदि हम खुद से कोई कमिटमेंट करते हैं और उसे पूरा करते हैं तो यह सफलता की गारंटी है।
इंटरव्यू के वक्त पहली बार देखा था ट्रेन का आरक्षित कोच
चौहान ने अपने जीवन का किस्सा साझा करते हुए बताया कि उनके पिता पुलिस विभाग में आरक्षक थे। वेतन भी काफी सीमित था और साधन भी। इसलिए वे चाह के भी यूपीएससी की तैयारी नहीं कर पाए, क्योंकि कोचिंग की फीस तुलना में पिता का वेतन बहुत ही कम था। इसलिए उन्होंने उन्होंने तय किया कि वे सेना का हिस्सा बनेंगे और इसके लिए प्रयास किए तो सफलता मिल ही गई। लंदन और यूरोप सहित अन्य देशों में सेवाएं दे चुके चौहान ने बताया कि उन्होंने ट्रेन का आरक्षित कोच भी तब देखा था जब वे इंटरव्यू के लिए जा रहे थे।
उत्कृष्ट शिक्षकों का लाभ लें, संसाधनों का सदुपयोग करें
मुख्य अतिथि योगेश सिंह ने विद्यार्थियों से कहा कि आप सभी परिश्रमी है इसका प्रमाण आपके हाथों में मौजूद विभिन्न गतिविधियों में सफलता अर्जित करने के लिए मिले प्रमाण-पत्र हैं। इसलिए इसमें कमी नहीं आनी चाहिए। सिंह ने कहा कि आप सौभाग्यशाली हैं कि आप ऐसी संस्था में पढ़ते हैं जहां सेवा को अपना कर्तव्य मानने वाले उत्कृष्ट शिक्षक हैं। इनका अधिक से अधिक लाभ लीजिए। आज हर घर में और हर हाथ में स्मार्ट फोन है, इंटरनेट की सुविधा है। इसका दुरुपयोग नहीं, बल्कि अपने बेहतर भविष्य के लिए सदुपयोग करें। चौहान ने विद्यार्थियों को भारतीय सेना का हिस्सा बनने के लिए टिप्स भी दिए और ज्यादा से ज्यादा पढ़ने खासकर अखबार पढ़ने पर जोर दिया।
सूबेदार मोनिका ठाकुर ने गया गीत
समारोह की विशेष अतिथि म. प्र. पुलिस की सूबेदार मोनिका ठाकुर ने छात्राओं को करियर पर फोकस करने के लिए प्रेरित किया। उन्होंने संस्कृति को बचाने और युवावस्था के भटकाव के दुष्प्रभाव भी बताए। पुलिस अधिकारी मोनिका ने वंदेमातरम् गीत भी प्रस्तुत किया। इससे पूर्व सर्व प्रथम अतिथियों द्वारा मां सरस्वती की पूजा-अर्चना की गई। इसके बाद विद्यार्थियों ने स्वागत गीत के माध्यम से अतिथियों का अभिनंदन किया।
तत्पश्चात समारोह की अध्यक्षता कर रहीं प्राचार्य संध्या वोरा, उप प्राचार्य गजेंद्र सिंह राठौर सहित शिक्षकों ने अतिथियों का स्वागत किया। स्वागत उद्बोधन और अतिथि परिचय उप प्राचार्य राठौर ने दिया। संस्था के वार्षिक प्रतिवेदन का वाचन मंजुलिका खरे ने किया।
पुरस्कार मिले तो खिल उठे चेहरे
संस्था में वर्षभर होने वाली विभिन्न गतिविधियों में उत्कृष्ट प्रदर्शन करने वाले, सर्वाधिक और शतप्रतिशत उपस्थिति वाले विद्यार्थियों को अतिथियों द्वारा पुरस्कार प्रदान किए गए। शत-प्रतिशत परीक्षा परिणाम देने वाले और टीचर ऑफ द ईयर के रूप में चयनित शिक्षकों को भी सम्मानित किया गया।
इस दौरान विद्यार्थियों ने सरस्वती वंदना, देशभक्ति गीत एवं अनेकता में एकता थीम पर नृत्य की प्रस्तुति दी। संचालन रूपाली जैन और हर्षिता सोलंकी ने माना। आभार मीनाक्षी अग्रवाल ने व्यक्त किया।
विज्ञान मॉडल प्रदर्शनी लगाई, सांस्कृतिक प्रस्तुतियां हुईं
दो दिवसीय वार्षिक पुरस्कार के पहले दिन प्राथमिक विद्यालय खंड के विद्यार्थियों को विकासखंड शिक्षा अधिकारी एम. एल. डामोर ने पुरस्कृत किया। इस दौरान बच्चों ने अंग्रेजी स्किड का प्रदर्शन किया। प्रधानाध्यापक अनिल मिश्रा के मार्गदर्शन में विज्ञान मॉडल की प्रदर्शनी लगाई गई। सीमा चौहान के मार्गदर्शन में सांस्कृतिक प्रस्तुतियां भी दी गईं। संचालन प्रदीप वैष्णव ने किया। आभार अमित झा ने माना।