मध्य प्रदेश के सभी निगमों, मंडलों और प्राधिकरणों की राजनीतिक नियुक्तियां समाप्त ! 4 दर्जन लोगों से छिनेगा 'माननीय' का दर्जा
मध्य प्रदेश में निगम मंडलों और प्राधिकरणों में की गई अध्यक्षों और उपाध्यक्षों की नियुक्तियां निरस्त होनी शुरू हो गई हैं। माना जा रहा है कि लोकसभा चुनाव को ध्यान में रखते हुए सभी जगह नई नियुक्तियां होंगी।
एसीएन टाइम्स @ भोपाल । मुख्यमंत्र डॉ. मोहन यादव सरकार ने मध्य प्रदेश के सभी निगम मंडलों और प्राधिकरणों की राजनीतिक नियुक्तियों को समाप्त करने का निर्णय लिया है। ये नियुक्ति पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के कार्यकाल में हुई थीं। ऐसे करीब चार दर्जन माननीयों को दिया गया मंत्री का दर्जा छिन गया है।
मंगलवार को मप्र की राजधानी भोपाल से बड़ी खबर निकली। सरकार ने प्रदेश के सभी निगम मंडलों के अध्यक्ष, उपाध्यक्ष और प्राधिकरणों के अध्यक्षों की नियुक्तियां निरस्त होना शुरू हो गईं। इनमें भोपाल, इंदौर, उजजैन, देवास सहित अन्य विकास प्राधिकरणों के साथ ही विभिन्न निगम और मंडल में हुई राजनीतिक नियुक्तियां शामिल हैं। प्रदेश में शिवराज सिंह चौहान के मुख्यमंत्री काल में प्रदेश के निगम-मंडलों में 46 नियुक्तियां की गईं थी। ये नियुक्तियां निरस्त करने को लेकर विभागों द्वारा विभागीय आदेश जारी होने शुरू हो गई हैं।
लोकसभा चुनाव है लक्ष्य
बताया जा रहा है कि नियुक्तियां निरस्त करने की पीछे आगामी लोकसभा चुनाव हैं। माना जा रहा है कि पार्टी नई नियुक्तियां कर लोगों को मन जीतने का प्रयास कर सकती है। संभव है कि कुछ नियुक्तियां लोकसभा चुनाव से पहले ही हो जाएं जबकि कुछ उसके बाद भी संभावित हैं। चुनाव बाद होने वाली नियुक्तियों के लिए पार्टी के नेताओं और कार्यकर्ताओं को पहले से ही आश्वासन मिलने का भी अनुमान है। कहा जा रहा है कि लोकसभा चुनाव में प्रभावी जीत के उद्देश्य से संगठन स्तर पर विचार-विमर्श शुरू हो चुका है।