मनमानी का अस्पताल ! पाटीदार मल्टी स्पेशलिटी हॉस्पिटल में बिना पूछे और जरूरी नहीं होने पर भी निकाल दी बच्चेदानी, संचालक पर 50 हजार रुपए का जुर्माना
मप्र के रतलाम जिले के पाटीदार मल्टी स्पेश्लिटी हॉस्पिटल जावरा में बेवजह एक महिला की बच्चेदानी निकालने का मामला सामने आया है। अस्पताल संचालक पर 50 हजार रुपए का जुर्माना किया गया है।
कलेक्टर ने जांच करवाई तो सही पाई गई शिकायत, संचालक को दी पंजीयन रद्द करने की शिकायत
एसीएन टाइम्स @ रतलाम । कलेक्टर भास्कर लाक्षाकार ने जावरा के पाटीदार मल्टी स्पेश्लिटी हॉस्पिटल के संचालक पर 50 हजार रुपए का जुर्माना किया है। हॉस्पिटल प्रबंधन पर आरोप है कि वहां जरूरी नहीं होने पर भी एक महिला की बच्चेदानी निकाल दी गई। आरोप है कि अस्पताल प्रशासन की ओर से इस बारे में महिला अथवा उसके परिजन से पूछा तक नहीं गया।
जानकारी के अनुसार जिले के पिपलौदा विकासखंड की एक महिला ने कलेक्टर लाक्षाकार के समक्ष उपस्थित होकर आवेदन प्रस्तुत किया था। इसमें बताया गया था कि जावरा के भीमाखेड़ी फाटक स्थित पाटीदार मल्टी स्पेश्लिटी हॉस्पिटल में उपचार के दौरान आवश्यक नहीं होने पर बिना बताए ही उनकी बच्चेदानी निकाल दी गई है। कलेक्टर मामले को गंभीरता से लिया और समयसीमा निराकरण में रखा। उन्होंने सीएमएचओ डॉ. आनंद चंदेलकर को जांच कर प्रतिवेदन प्रस्तुत करने के निर्देश दिए थे।
महिला को थी यह बीमारी
कलेक्टर के आदेश के परिपालन में सीएमएचओ डॉ. चंदेलकर द्वारा चिकित्सकों का दल गठित कर सभी संबंधितों के कथन दर्ज कर जांच कराई गई। जांच करने पर महिला को Chronic UTI With cystitis एवं Uterus Adynomyosis पाया गया था। महिला की प्रथम बार सोनोग्राफी वडोदरा के पारूल सोनोग्राफी सेवा आश्रम द्वारा किया जाना पाया गया। मरीज को Uterus shows mild changes of Adenomyosis, mild changes of cystitis था। जांच में मरीज की बच्चेदानी के ऑपरेशन की आवश्यकता नहीं होना पाया गया। इसके बाद भी अस्पताल द्वारा महिला की बच्चेदानी निकाल दी गई थी।
शासकीय कोष में जमा कराना होगी जुर्माने की राशि
जांच रिपोर्ट मिलने पर कलेक्टर द्वारा सख्त कार्रवाई की गई। पाटीदार मल्टी स्पेश्लिटी हॉस्पिटल जावरा के विरुद्ध मरीज की बच्चेदानी का अनावश्यक ऑपरेशन करने म. प्र. उपचर्यागृह तथा रूजोपचार संबंधी स्थापनाएं (रजिस्ट्रीकरण तथा अनुज्ञापन) अधिनियम 1973 व नियम 1997 की धारा 8 की उपधारा (ग) के प्रावधान के तहत 50 हजार रुपए जुर्माना किया गया। अस्पताल के संचालक दिनेश पाटीदार को जुर्माने की राशि शासकीय कोष में जमा कराने के आदेश दिए गए हैं। साथ ही उन्हें चेतावनी दी गई कि यदि भविष्य में इस प्रकार का कृत्य होना पाया जाता है तो अस्पताल का पंजीयन निरस्त करने की कार्यवाही की जाएगी।