शिक्षकों को पुरानी पेंशन देने की फिर उठी मांग, आज़ाद अध्यापक शिक्षक संघ मप्र ने CM के नाम ज्ञापन सौंपकर लगाई गुहार

आजाद अध्यापक शिक्षक संघ मप्र द्वारा पुरानी पेंशन बहाल करने की मांग की जा रही है। इसे लेकर संघ की ओर से पुनः मुख्यमंत्री के नाम ज्ञापन सौंपा गया। ज्ञापन में अन्य लंबित मांगों के निराकरण की गुहार भी की गई है।

एसीएन टाइम्स @ रतलाम । आज़ाद अध्यापक शिक्षक संघ मध्य प्रदेश ने एक बार फिर मध्य प्रदेश में पुरानी पेंशन बहाल करने की मांग की है। संघ की ओर से मुख्यमंत्री के नाम ज्ञापन दिया गया। इसमें पुरानी पेंशन योजना के अलावा अन्य लंबित मांगें भी उठाई गईं।

आज़ाद अध्यापक शिक्षक संघ मध्य प्रदेश ने ज्ञापन कलेक्टर के प्रतिनिधि एवं जिला खाद्य अधिकारी एस. एच. चौधरी को दिया। ज्ञापन का वाचन जिला सचिव राजेश स्वर्णकार ने किया। ज्ञापन में मुख्य मांग नई अंशदाई पेंशन के स्थान पर पुराने शिक्षक संवर्ग की तरह पुरानी पेंशन लागू करने 13 मांगों के निराकरण की है। इसके अलावा अन्य मांगों के निराकरण की गुहार भी लगाई गई है। संघ की ओर से मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान को जन्मदिन व म.प्र. के शासकीय कर्मचारियों को केंद्र के समान 31 फीसदी डीए देने की घोषणा करने के लिए धन्यवाद भी ज्ञापित किया।

ये थे उपस्थित

ज्ञापन देते समय संभागीय अध्यक्ष प्रकाश शुक्ला, संभागीय उपाध्यक्ष ललिता कदम, संभागीय मीडिया प्रभारी प्रहलाद गेहलोत, जिला अध्यक्ष सुनील कुमार गौड़, जिला संगठन मंत्री हरिराम जाटवा, कमलेश शर्मा, सत्यनारायण माली, सुधा शर्मा, शोभा पाटीदार, जिला मीडिया प्रभारी राजेंद्रसिंह राठौर, अर्जुन राठौर, राजेंद्र चौहान, विक्रम पांचाल, दिनेश निनामा, नाथूलाल नागर सहित अध्यापक शिक्षक उपस्थित थे।

आजाद अध्यापक संघ की प्रमुख मांगें

  • अध्यापक शिक्षक संवर्ग को भी NPS न्यू अंशदाई पेंशन के स्थान पर पुराने शिक्षक संवर्ग की भांति OPS पुरानी पेंशन लागू की जाए।
  • विगत वर्षों में दिवंगत अध्यापक शिक्षक संवर्ग के आश्रित परिवार के सदस्यों को अनुकंपा नियुक्ति प्रदान की जाए।
  • वर्ष 2006, 2007, 2008, 2009 में नियुक्ति अध्यापक शिक्षक की प्रथम क्रमोन्नत वेतनमान/ समयमान वेतनमान एवं 1998 और 2001 में नियुक्ति अध्यापक शिक्षक संवर्ग के द्वितीय क्रमोन्नत वेतनमान / समयमान वेतनमान के आदेश जारी करें।
  • गुरुजी संवर्ग के अध्यापक शिक्षक संवर्ग को भी शिक्षा गारंटी शाला से शासकीय प्राथमिक शाला में उन्नयन दिनांक से वरिष्ठता का लाभ भी नहीं मिला। प्रदान किया जाए।
  • सभी शासकीय कर्मचारियों की प्रति वर्ष 01 अप्रैल की स्थिति में समस्त विभागों और नियुक्तिकर्ता अधिकारियों द्वारा अपने कर्मचारियों की आपसी वरिष्ठता जारी की जाती है। तीन वर्ष से अध्यापक शिक्षक संवर्ग के कर्मचारियों की अधिकतर नियुक्तिकर्ता अधिकारियों द्वारा वरिष्ठता सूची का प्रकाशन नहीं किया गया है। यह अविलंब प्रकाशित करवाकर अध्यापक शिक्षक संवर्ग की उच्च माध्यमिक शिक्षक की प्राचार्य पद पर, माध्यमिक शिक्षक की उच्च माध्यमिक शिक्षक पद पर और प्राथमिक शिक्षक की माध्यमिक शिक्षक पद के 50 प्रतिशत पदों पर पदोन्नति दी जाए।
  • विगत वर्षों में सेवानिवृत्त होने वाले अध्यापक शिक्षक संवर्ग को 500 से 2500 रुपए मासिक पेंशन के स्थान पर पुरानी पेंशन के अनुसार मासिक पेंशन दी जाए।
  • दिवंगत और सेवानिवृत्त होने वाले अध्यापक शिक्षक संवर्ग को भी ग्रेच्युटी का लाभ दिया जाए।
  • अध्यापक शिक्षक संवर्ग को भी ग्रीनकार्ड के एवज में वेतन-वृद्धि का लाभ दिया जाए।
  • 2006 या उसके बाद नियुक्ति अध्यापक शिक्षक संवर्ग की वेतन विसंगति में सुधार किया जाए।
  • 1 जुलाई 2018 से नवीन शिक्षक संवर्ग शामिल होने से वंचित शेष सभी अध्यापक संवर्ग, संविदा शिक्षक संवर्ग और गुरुजी संवर्ग को विभागीय जानकारी लेकर नवीन शिक्षक संवर्ग में शामिल किया जाए।
  • पूर्व सेवारत शासकीय कर्मचारी ने अनापत्ति प्रमाण-पत्र लेकर विभागीय परीक्षा के माध्यम से नवीन शिक्षक भर्ती पर उच्च माध्यमिक शिक्षक पद पर नियुक्ति ली, उन्हें वेतन संरक्षण नियम के तहत पूर्व पद अनुसार ही वेतन भुगतान किया जाता है। शिक्षा विभाग के अधिकारी केवल 70 प्रतिशत वेतन भुगतान कर आर्थिक नुकसान कर रहे हैं।
  • उज्जैन संभाग अनेक संकुलों में 50 फीसदी वेतन-वृद्धि तथा सातवें वेतनमान के अंतर की राशि की द्वितीय किस्त का भुगतान नहीं हुआ है। इसका तत्काल भुगतान सुनिश्चित कराया जाए।
  • जनजातीय कार्य विभाग रतलाम में अन्य जिलों से स्थानांतरित होकर आए शिक्षकों के IFMIS पोर्टल पर पद प्रदर्शित नहीं होने से 6 माह से वेतन भुगतान नहीं हो रहा। अतः उनके पद प्रदर्शित कर लंबित भुगतान करवाया जाए।