ये मेडिकल कॉलेज नहीं, भूल-भुलैया है, कभी ऑपरेशन थिएटर गायब हो जाता है तो कभी चिकित्सकों और स्टाफ का वेतन- चिकित्सा शिक्षक संघ

रतलाम शासकीय मेडिकल कॉलेज का पैरामेडिकल स्टाफ ही नहीं, चिकित्सा शिक्षक भी वेतन नहीं मिलने से परेशान हैं। दो माह से वेतन नहीं मिलने पर सोमवार को सभी ने सांकेतिक हड़ताल कर स्वास्थ्य सेवाएं ठप कर दी। आंदोलन के दौरान चिकित्सकों ने कॉलेज गेट पर प्रदर्शन कर नारे लगाए और मुख्यमंत्री के नाम ज्ञापन सौंपा।

दो माह से वेतन नहीं मिलने से परेशान चिकत्सकों व स्टाफ ने सांकेतिक हड़ताल कर ठप की स्वास्थ्य सेवाएं, महिला चिकित्सकों ने महिला दिवस के सम्मान का किया बहिष्कार

एसीएन टाइम्स @ रतलाम । सरकारी सुविधाएं ‘सरकारी ही होती हैं, यह बात रतलाम के शासकीय मेडिकल कॉलेज के संचालन में भी साबित हो गई है। कोविड के दौरान जान जोखिम में डालकर मरीजों की जान बचाने वाले चिकित्सकों और स्टाफ को नियमित वेतन नहीं मिल रहा। इससे नाराज चिकित्सा शिक्षक संघ ने मेडिकल कॉलेज को भूल-भुलैया बताते हुए सांकेतिक हड़ताल की। संघ ने सीएम के नाम ज्ञापन देकर वेतन भुगतान व अन्य लंबित मांगों के निराकरण की गुहार लगाई है। महिली चिकित्सकों और नर्सिंग स्टाफ ने महिला दिवस पर आयोजित सम्मान समारोह के बहिष्कार का ऐलान भी किया है।

शासकीय मेडिकल कॉलेज के चिकित्सकों और पैरामेडिकल स्टाफ ने चिकित्सा शिक्षक संघ के बैनर तले सोमवार को सांकेतिक हड़ताल की। उन्होंने सुबह 10 से दोपहर 12 बजे तक सारी स्वास्थ्य सेवाएं ठप कर अपनी मांगों के निराकरण के लिए आवाज बुलंद की। चिकित्सकों ने सरकार और मेडिकल कॉलेज प्रबंधन विरोधी नारे लगाए। इस दौरान सभी रूटीन सेवाएं बाधित रहीं, हालांकि इमरजेंसी स्वास्थ्य सुविधाएं प्रभावित नहीं होने दी गईं।

दो सांकेतिक हड़ताल के दौरान चिकित्सकों ने मुख्यमंत्री के नाम संबोधित एक ज्ञापन भी अस्पताल प्रबंधन को सौंपा। इसमें वेतन नहीं मिलने सहित अपनी विभिन्न मांगों को दोहराया गया। चिकित्सा शिक्षक संघ द्वारा चेतावनी दी गई है कि यदि मांगें शीघ्र पूरी नहीं होती हैं तो प्रदेशस्तर पर हड़ताल की जाएगी। संघ अध्यक्ष डॉ. प्रवीण सिंह बघेल के अनुसार वेतन नहीं मिलने पर प्रदेश के सभी मेडिकल कॉलेजों के चिकित्सक और पैरामेडिकल स्टाफ हड़ताल पर चले जाएंगे।

6 माह से जारी है वेतन भुगतान को लेकर अनियमितता, सरकार संज्ञान ले

चिकित्सा शिक्षक संघ के अध्यक्ष डॉ. प्रवीण सिंह बघेल के अनुसार हमने कोरोना काल में अपनी जान की परवाह किए बिना काम किया। 2020 से लगातार बिना रुके काम कर रहे हैं। अवकाश भी नहीं लिया। बावजूद 6 माह से समय पर वेतन नहीं मिल रहा।

डॉ. बघेल ने कहा कि- यह कॉलेज न होकर भूल-भुलैया का अड्डा बनकर रह गया है। यहां कभी भी कोई भी चीज गायब हो जाती है। दो महीने से हमारा वेतन गायब है, एनपीएस भी गायब है। हम जो सरकार को अंशदान करते हैं वह भी यहां से गायब है। इतना ही नहीं, यहां अस्थि रोग विभाग का एक ऑपरेशन थिएटर और जूनियर रेसिडेंट डॉक्टर का रिजल्ट तक गायब हो जाता है। आखिर, यह क्या चल रहा है ? डॉ. बघेल ने कहा कि- समय पर हमें हमारा हक प्रदान किया जाए। इस संदर्भ में सरकार जल्द से जल्द संज्ञान ले।

महिला चिकित्सकों का महिला दिवस के सम्मान समारोह का बहिष्कार, बोलीं- खोखला सम्मान देकर हमारा मजाक न उड़ाएं

वेतन नहीं मिलने से मेडिकल कॉलेज की महिला चिकित्सकों में भी जबरदस्त रोष है। उन्होंने भी सोमवार को एकत्र होकर विरोध प्रदर्शित किया। बायो केमेस्ट्री विभाग की एसोसिएट प्रोफेसर डॉ. दर्शना जैन ने कड़े शब्दों में अपनी बात रखी। उन्होंने कहा कि- उन्हें पता चला है कि प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने महिला दिवस पर महिलाओं के सम्मान में कार्यक्रम का आयोजन किया है लेकिन मेडिकल कॉलेज की सभी महिला चिकित्सक इसका बहिष्कार करती हैं।

डॉ. जैन के अनुसार हम 6 माह से वेतन की अनियमितता से जूझ रहे हैं। इसे लेकर पहले भी आवाज उठा चुके हैं। दिसंबर में भी शासन के समक्ष मुद्दा रखा था। दो माह से फिर तात्कालिक परेशानी से जूझ रहे हैं। ऐसे में यह सम्मान खोखला ही प्रतीत होता है। ऐसा सम्मान कर के हमारा मजाक न बनाएं। वेतन से मूलभूत आवश्यकताएं पूरी होती हैं। कहते भी हैं कि ‘भूखे भजन ना होय गोपाला...। अतः हमें समय पर वेतन ही दे दीजिए, यही हमारा सम्मान होगा।

नर्सिंग ऑफिसर एसोसिएशन ने भी किया आयोजन का बहिष्कार

शासकीय मेडिकल कॉलेज के नर्सिंग ऑफिसर एसोसिएशन ने भी महिला दिवस पर आयोजित समारोह का बहिष्कार किया है। एसोसिएशन की ओर से कॉलेज के मुख्य कार्यपालन अधिकारी व अधिष्ठाता को पत्र लिखा गया है। इसमें बताया गया है कि महिला दिवस 8 मार्च को दोपहर 12 बजे राज्य स्तरीय महिला सम्मान समारोह का आयोजन गांधी चिकित्सा महाविद्यालय भोपाल के ऑडिटोरियम में किया जा रहा है। चिकित्सा शिक्षक संघ की महिला इकाई सुविधा और वेतन की नियमितता के अभाव में खोखले सम्मान के जीएमसी में ऑनलाइन प्रसारण में सम्मिलित नहीं होकर बहिष्कार करती है।