मस्जिदों से लाउडस्पीकर नहीं हटा सका प्रशासन, इसलिए न्यायालय से लगाई गुहार, जारी हो गया कलेक्टर और एसपी को नोटिस देने का आदेश, 28 अप्रैल को होगी सुनवाई

सुप्रीम कोर्ट के स्पष्ट आदेश के बाद भी मस्जिदों में प्रतिबंधित अवधि में तेज आवाज में लाउडस्पीकर से अजान होती है। इस पर रोक लगाने की मांग को लेकर हिंदू जागरण मंच सहित अन्य की ओर से अभिभाषकों की पैनल ने रतलाम जिला न्यायालय में याचिका दायर की है। न्यायालय ने मामले में रतलाम कलेक्टर और एसपी को पक्ष रखने के लिए नोटिस जारी करने का आदेश दिया है।

मस्जिदों से लाउडस्पीकर नहीं हटा सका प्रशासन, इसलिए न्यायालय से लगाई गुहार, जारी हो गया कलेक्टर और एसपी को नोटिस देने का आदेश, 28 अप्रैल को होगी सुनवाई
सांकेतिक चित्र।

एडवोकेट तुषार कोठारी ने दायर की जनहित याचिका, इससे पहले कलेक्टर व एसपी को नोटिस जारी कर की थी मस्जिदों से लाउड स्पीकर हटवाने की मांग

एसीन टाइम्स @ रतलाम । रतलाम में मस्जिदों में अजान के लिए लाउड स्पीकर के उपयोग पर प्रतिबंध लगाने की मांग का मामला न्यायालय पहुंच गया है। न्यायालय ने इससे संबंधित जनहित याचिका स्वीकार कर कलेक्टर और एसपी को नोटिस जारी करने का आदेश दिया है। न्यायालय ने इसकी सुनवाई के लिए अगली तारीख 28 अप्रैल नियत की है।

एडवोकेट तुषार कोठारी ने सोमवार को जिला न्यायालय की तृतीय व्यवहार न्यायाधीश ज्योति राठौर के समक्ष एक जनहित याचिका प्रस्तुत की। याचिका हिन्दू जागरण मंच के जिलाध्यक्ष राजेश कटारिया, जिला अभिभाषक संघ के पूर्व अध्यक्ष एडवोकेट दशरथ पाटीदार, अधिवक्ता परिषद के अध्यक्ष एडवोकेट सतीश त्रिपाठी और किशोर सिलावट की ओर से प्रस्तुत की गई। इसमें सुप्रीम कोर्ट द्वारा 2005 में दिए फैसले का हवाला देते हुए उसके आदेश की अवमाना होने का तर्क दिया गया। याचिका में सुप्रीम कोर्ट द्वारा ध्वनि विस्तारकों के उपयोग को लेकर जारी आदेश का हवाला दिया गया था। न्यायाधीश ने याचिका के संबंध में दिए गए प्रारंभिक तर्कों को सुनने के पश्चात मामले को सुनवाई के लिए स्वीकार कर लिया। न्यायालय ने जिला कलेक्टर और एसपी को मामले में उत्तर देने के लिए नोटिस जारी करने के आदेश दिए है।

पहले कलेक्टर और एसपी को दिया था नोटिस

गौरतलब है कि, मस्जिदों पर लाउड स्पीकर से दी जाने वाली अजान से परेशान होकर एडवोकेट कोठारी ने हिन्दू जागरण मंच के जिलाध्यक्ष राजेश कटारिया, जिला अभिभाषक संघ के पूर्व अध्यक्ष एडवोकेट दशरथ पाटीदार, अधिवक्ता परिषद के अध्यक्ष एडवोकेट सतीश त्रिपाठी और किशोर सिलावट की ओर कुछ समय पूर्व जिला कलेक्टर और एसपी को नोटिस दिया था। नोटिस में कलेक्टर और एसपी से मस्जिदों के लाउड स्पीकर जब्त करने की मांग की थी। नोटिस में एडवोकेट कोठारी ने सर्वोच्च न्यायालय द्वारा वर्ष 2005 में दिए  निर्णय का हवाला दिया गया था।

सुप्रीम कोर्ट ने यह दी है गाइडलाइन

नोटिस में एडवोकेट कोठारी द्वारा बताया गया था कि सुप्रीम कोर्ट ने रात 10 बजे से सुबह 6 बजे के मध्य लाउड स्पीकर बजाने पर पूर्णत: प्रतिबन्ध लगाया है। इस समय के अलावा भी लाउड स्पीकर की ध्वनि की सीमा निर्धारित की गई है। बावजूद मस्जिदों पर सुबह 6 बजे के पहले लाउड स्पीकर से अजान दी जाती है। यह न सिर्फ सर्वोच्च न्यायालय की अवमानना है, बल्कि इस कर्कश शोर से पब्लिक न्यूसेंस भी होता है। सुबह 6 बजे के बाद प्रतिदिन होने वाली चार अजानों में भी ध्वनि के स्तर की सीमा निर्धारित सीमा से बहुत अधिक रहती है। इससे जनसाधारण के स्वास्थ्य पर प्रतिकूल असर पड़ता है। इस आधार पर जिला प्रशासन से मस्जिदों के लाउड स्पीकर जब्त करने की मांग की गई थी। जिला प्रशासन द्वारा कोई कार्रवाई नहीं किए जाने पर ही एडवोकेट कोठारी ने अपने पक्षकारों की ओर से न्यायालय में जनहित याचिका दायर की।